भारत में NRI एवं विदेशी विवाह की कानूनी प्रक्रिया
नमस्कार दोस्तों, स्वागत है आपका Delhi Law Firm® में — आपके भरोसेमंद कानूनी साथी के रूप में। अगर आप एक एनआरआई हैं या किसी विदेशी नागरिक से विवाह करना चाहते हैं, तो यह जानकारी आपके लिए बहुत महत्वपूर्ण है। भारत में एनआरआई या विदेशी नागरिक से विवाह करना पूरी तरह कानूनी और वैध है, बशर्ते आप सही कानूनी प्रक्रिया का पालन करें।
बहुत से लोग नहीं जानते कि ऐसा विवाह न केवल भारत में बल्कि विदेश में भी किया जा सकता है और वह विवाह भारत में भी कानूनी रूप से मान्य होता है। आज हम विस्तार से बताएंगे कि यह विवाह कैसे किया जाता है, किन दस्तावेज़ों की आवश्यकता होती है और कैसे आप उसी दिन विवाह प्रमाणपत्र प्राप्त कर सकते हैं।
कानूनी प्रावधान
भारत में एनआरआई या विदेशी विवाह मुख्य रूप से तीन कानूनों के अंतर्गत आते हैं — Foreign Marriage Act, 1969, Special Marriage Act, 1954 और Personal Laws (जैसे हिंदू विवाह, ईसाई विवाह या मुस्लिम निकाह)। इन सभी के तहत विवाह पूरी तरह वैध होता है, लेकिन आवश्यक दस्तावेज़ों का सत्यापन, अटेस्टेशन और अपोस्टिल अनिवार्य है।
विदेश में विवाह — Foreign Marriage Act, 1969
अगर विवाह भारत के बाहर हो रहा है, तो Foreign Marriage Act, 1969 लागू होता है। प्रत्येक भारतीय दूतावास (Embassy) में एक Marriage Officer नियुक्त होता है। जब कोई भारतीय नागरिक या एनआरआई किसी विदेशी नागरिक से विवाह करना चाहता है, तो उसे दूतावास में आवेदन करना होता है। दोनों पक्षों के पासपोर्ट, वीज़ा, जन्म प्रमाणपत्र और Single Status Certificate जमा करने के बाद दूतावास 30 दिन का सार्वजनिक नोटिस जारी करता है।
यदि कोई आपत्ति नहीं आती है तो दूतावास के अधिकारी की उपस्थिति में तीन गवाहों के सामने विवाह संपन्न किया जाता है और Marriage Certificate जारी किया जाता है जो भारतीय कानून के अनुसार मान्य होता है।
अपोस्टिल और अटेस्टेशन प्रक्रिया
विवाह के बाद, अगर आप चाहते हैं कि वह विवाह भारत में कानूनी रूप से मान्यता प्राप्त करे, तो Delhi Law Firm® आपको Apostille और Attestation प्रक्रिया में सहायता करती है। यह प्रक्रिया Hague Convention, 1961 के तहत होती है और इससे आपका विवाह प्रमाणपत्र भारत और विदेश दोनों में मान्य हो जाता है।
भारत में एनआरआई विवाह
अगर विवाह भारत में किया जा रहा है, तो यह दो तरीकों से किया जा सकता है — Special Marriage Act, 1954 के तहत या धार्मिक विधि जैसे Arya Samaj® Marriage, Christian Marriage Act या मुस्लिम निकाह के तहत।
आवश्यक दस्तावेज़
- दोनों पक्षों के पासपोर्ट और वैध वीज़ा
- जन्म प्रमाणपत्र / आयु प्रमाण
- Embassy NOC और Single Status Certificate
- पता प्रमाण और फोटोग्राफ
- दो गवाहों के पहचान पत्र
- सहमति और वैवाहिक स्थिति के हलफ़नामे
उसी दिन विवाह पंजीकरण
यदि सभी दस्तावेज़ पूर्ण और सत्यापित हैं, तो Delhi Law Firm® आपकी सहायता से उसी दिन Court Marriage Certificate जारी करवाने में मदद करती है। यह प्रमाणपत्र पूरे भारत में और विदेश में वीज़ा या इमिग्रेशन के लिए मान्य होता है।
आर्य समाज विवाह
अगर विवाह वैदिक रीति से Arya Samaj Mandir® में किया जाता है तो वह भी पूर्णतः वैध है। विवाह के बाद इसे अदालत में पंजीकृत कराया जा सकता है और उसी दिन सरकार द्वारा मान्यता प्राप्त विवाह प्रमाणपत्र प्राप्त किया जा सकता है। अधिक जानकारी के लिए देखें aryasamajmandir.in।
विवाह प्रमाणपत्र का महत्व
- स्पाउस वीज़ा और विदेश यात्रा
- संपत्ति एवं उत्तराधिकार अधिकार
- बीमा और बैंकिंग कार्यवाही
- कस्टडी और तलाक के मामलों में साक्ष्य
क्यों चुनें Delhi Law Firm®
- एक ही स्थान पर पूरी कानूनी प्रक्रिया
- Embassy, Apostille, Attestation सब एक ही प्लेटफॉर्म से
- सत्यापित दस्तावेज़ों पर उसी दिन पंजीकरण
- भारत और विदेश दोनों जगह कानूनी मान्यता
Delhi Law Firm® आपके विवाह को न केवल वैध बनाती है बल्कि अंतरराष्ट्रीय स्तर पर कानूनी मान्यता दिलाती है। हम पूरी प्रक्रिया को पारदर्शी, सुरक्षित और सरकारी नियमों के अनुसार सुनिश्चित करते हैं।
आपका विवाह, हमारी कानूनी गारंटी
चाहे आप दिल्ली में हों या दुबई, लंदन या न्यूयॉर्क में — Delhi Law Firm® यह सुनिश्चित करती है कि आपका विवाह भारतीय कानून के तहत पूर्णतः वैध और सुरक्षित हो।
कानूनी सहायता के लिए विज़िट करें — courtmarriage.in







